पटना:बिहार की बदहाल शिक्षा व्यवस्था ने वर्तमान शिक्षा मंत्री प्रोफेसर चंद्रशेखर (Education Minister Prof Chandrashekhar) को भी सोचने पर विवश कर दिया है. शिक्षक भर्ती प्रक्रिया को लेकर मंथन शुरू हो गया है. इस बार पुरानी प्रक्रिया के बजाय नए तरीके से शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया पूरा करने की कवायद शुरू की गई है. सरकार के इस पहल पर सियासी संग्राम छिड़ गया है. प्रदेश में डेढ़ दशक से शिक्षकों की भर्ती का जिम्मा स्थानीय निकाय के पास था, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने चार स्तरीय पंचायती राज व्यवस्था के जरिए जब भर्ती की प्रक्रिया शुरू की थी. मुखिया या प्रखंड प्रमुख के द्वारा गुणवत्तापूर्ण शिक्षक की बहाली को लेकर सवाल उठते रहे हैं.
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शिक्षा मंत्री के ट्वीट पर बवाल: शिक्षा मंत्री प्रोफेसर चंद्रशेखर सिंह के ट्वीट पर बवाल मचा हुआ है. शिक्षा मंत्री ने ट्वीट कर कहा है कि अब पुरानी पद्धति से शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया बिहार में नहीं होगी. एक तरीके से शिक्षा मंत्री ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के फैसले को पलटने का काम किया है. चंद्रशेखर ने कहा है कि अब नई पद्धति से शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया पूरी की जाएगी. संभवत शिक्षक भर्ती के लिए एक आयोग के गठन की योजना है.
पहले चार स्तर पर : आपको बता दें कि नीतीश कुमार के शासन काल में शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया पंचायत स्तर, प्रखंड स्तर, नगर परिषद स्तर और जिला परिषद स्तर पर की जाती थी. भर्ती प्रक्रिया में मुखिया, प्रखंड प्रमुख, नगर परिषद अध्यक्ष और जिला परिषद अध्यक्ष की भूमिका अहम होती थी. इसे अब हटाया जाएगा. बीजेपी ने शिक्षा मंत्री प्रोफेसर चंद्रशेखर के ट्वीट पर सवाल खड़े किए हैं.