पटना: पटना जिला परिषद (Patna Zilla Parishad) की अध्यक्ष अंजू देवी और डीडीसी (DDC) रिची पांडेय के बीच विकास योजनाओं (Development Plans) के क्रियान्वयन (Implementation) को लेकर हुए विवाद में 15वें वित्त आयोग के लगभग 7 करोड़ रुपये अधिक की राशि अटक गई है.
ये भी पढ़ें-मोतिहारी: मेयर के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव, चर्चा के लिए विक्षुब्ध पार्षदों ने 2 अगस्त को बुलाई विशेष बैठक
अंजू देवी ने राशि का सही से उपयोग न करने देने का आरोप डीडीसी पर लगाया है. उन्होंने कहा कि वह विकास योजनाओं के क्रियान्वयन को लेकर जारी राशि का बंदरबांट करने में लगे हुए हैं. डीडीसी मनमानी कर रहे हैं . 14 अगस्त 2020 को जिला परिषद की बैठक में जो निर्णय लिए गए उसका अभी तक अनुपालन नहीं किया गया है.
वहीं, जुलाई 2020 में लिए गए 54 प्रस्तावों का क्रियान्वयन भी डीडीसी ढंग से नहीं कर रहे हैं. इस बैठक में लिए गए निर्णय का अनुपालन नहीं किया गया है. जबकि इस मामले पर पटना डीडीसी का कहना है कि पंचायती राज विभाग ने समान रूप से सभी सदस्यों के क्षेत्र में राशि खर्च करने का दिशा-निर्देश जारी किया है.
ये भी पढ़ें-मुकेश सहनी की पार्टी में ही बगावत, बोले विधायक- सरकार में रहकर खिलाफत सही नहीं