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अधिवक्ता से मोकामा पुलिस स्टेशन में मारपीट केस की जांच करेंगे DGP, पटना हाईकोर्ट ने जारी किया निर्देश

मोकामा पुलिस स्टेशन में वकील के साथ कथित मारपीट के मामले में पटना हाईकोर्ट में सुनवाई हुई. इस दौरान कोर्ट ने डीजीपी को जांच का निर्देश जारी किया है. वहीं पीड़ित वकील ने कोर्ट में दलील दी है जिससे पुलिस फंसती नजर आ रही है. पढ़ें पूरी खबर

By ETV Bharat Bihar Team

Published : Jan 15, 2024, 8:50 PM IST

Mokama police station
Mokama police station

पटना : बिहार की पटना हाईकोर्ट ने मोकामा पुलिस स्टेशन में वकील के साथ कथित तौर पर मारपीट करने के मामले पर बिहार के डीजीपी को जांच करने का निर्देश दिया है. जस्टिस राजीव रंजन प्रसाद ने आनंद गौरव की याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि यदि संबंधित पुलिस अधिकारियों के खिलाफ आरोप सही पाए जाते हैं, तो याचिकाकर्ता-वकील मुआवजे के हकदार होंगे.

डीजीपी को जांच के निर्देश : कोर्ट ने कहा कि यह मामला पुलिस महानिदेशक के संज्ञान में लाया जाए, ताकि वे पूरे मामले की समीक्षा कर सक्षम अधिकारी द्वारा उचित जांच का आदेश पारित करें. कोर्ट ने कहा कि मामले की सुनवाई छह सप्ताह की अवधि के भीतर की जाए. जांच के दौरान प्रस्तुत की गई रिपोर्ट 23 फरवरी, 2024 तक हलफनामे के साथ इस कोर्ट के समक्ष दायर की जाए.

याचिकाकर्ता का पुलिस पर संगीन आरोप : याचिकाकर्ता-अधिवक्ता के खिलाफ पुलिस ने भी प्राथमिकी दर्ज कर आरोप लगाया था कि उन्होंने मोकामा पुलिस स्टेशन के एसआई की पिस्तौल छीनने की कोशिश की थी. याचिकाकर्ता ने ये दलील दिया कि पुलिस स्टेशन के सीसीटीवी फुटेज साबित करेंगे कि याचिकाकर्ता वास्तव में मामले में पीड़ित था. प्रतिवादी पुलिस द्वारा उस पर हमला किया गया था. याचिकाकर्ता ने आरोप लगाया कि संबंधित सीसीटीवी फुटेज हटा दिया गया है.

23 फरवरी को होगी सुनवाई : उन्होंने कहा कि सीसीटीवी फुटेज को संरक्षित करने के लिए उनके द्वारा लिखित अनुरोध किया गया था. लेकिन तत्कालीन एएसपी द्वारा धमकी दी गई थी कि यदि वह मामले को आगे बढ़ाने में शामिल होंगे, तो उन्हें इसका खामियाज़ा भुगतना होगा. इस मामले की अगली सुनवाई 23 फरवरी 2024 को होगी.

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