पटनाः राज्य में पिछले 15 दिनों में दूसरी बार डॉक्टर एसोसिएशन ने हड़ताल पर जाने की घोषणा की है. जूनियर डॉक्टरों की हड़ताल के बाद अब बिहार स्वास्थ्य सेवा संघ और आईएमए के आह्वान पर एक दिवसीय ओपीडी कार्य का बहिष्कार किया गया है.
ओपीडी कार्य ठप होने के कारण अस्पताल में आए मरीजों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. सूबे के सबसे बड़े अस्पताल पीएमसीएच, आईजीआईएमएस, एनएमसीएच समेत 9 मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में डॉक्टरों के हड़ताल पर चले जाने से लोगों को परेशानी हो रही है.
लू के चपेट में बिहार
बहरहाल राज्यभर में एक ओर जहां लू और चमकी बुखार से रोजाना सैंकड़ों लोग प्रभावित हो रहे हैं. रोजाना लोगों की जान जा रही है. इसके बावजूद डॉक्टर सरकार पर अपनी मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन करते नजर आ रहे हैं.
डॉक्टरों के हड़ताल और विरोध प्रदर्शन से मरीज परेशान पानी तक नहीं हुआ नसीब
डॉक्टरों के हड़ताल से लखीसराय से आये एक मरीज जिसके सीने में दर्द की शिकायत थी. उसका डॉक्टरों के हड़ताल के कारण इलाज नहीं हो पाया. वहीं पीएमसीएच और आईजीआईएमएस में मरीजों की परेशानी इस कदर बढ़ गयी की उन्हें पानी पीने के लिए भी दर-दर भटकना पड़ा.
मांग पूरा नहीं होने पर विरोध प्रदर्शन रहेगा जारी
डॉक्टरों ने बताया कि स्वास्थ्य कर्मियों और चिकित्सा सेवा संस्थानों की सुरक्षा के लिए केंद्रीय कानून बनाने की मांग को लेकर यह प्रदर्शन चलता रहेगा. हालांकि, इससे गरीब मरीजों के इमरजेंसी सेवा बाधित नहीं होगी. सरकार को डॉक्टरों की मांग पर विचार करना होगा और त्वरित कार्रवाई करनी होगी.