पटनाः बिहार लोक सेवा आयोग ने शिक्षक भर्ती परीक्षा के नतीजे घोषित कर दिए हैं. सफल अभ्यर्थियों की काउंसलिंग के बाद ट्रेनिंग चल रही है. यह ओरिएंटेशन प्रोग्राम 1 नवंबर तक चलेगा. इसके बाद गांधी मैदान में 2 नवंबर को एक भव्य कार्यक्रम में नियुक्ति पत्र वितरित किया जाएगा. 1 लाख से अधिक शिक्षकों को नियुक्ति पत्र दिया जाएगा. सीएम नीतीश कुमार करीब 5000 अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र खुद देंगे. जदयू कोटे के मंत्रियों ने इसे हिस्टोरिकल बताया.
"देश में इतने बड़े पैमाने पर पहली बार इस तरह का कार्यक्रम होने जा रहा है. यह ऐतिहासिक कार्यक्रम होगा. मुख्यमंत्री ने 15 अगस्त को ऐलान किया था कि 10 लाख नौकरी 10 लाख रोजगार देंगे तो गांधी मैदान में हिस्टॉरिकल इवेंट होने जा रहा है. जिला-जिला में भी नियुक्ति पत्र बांटा जाएगा. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपना वादा पूरा किया है."- संजय झा, जल संसाधन मंत्री
नहीं हुई है कोई गड़बड़ीः मंत्री संजय झा ने कहा कि बीपीएससी ने जिस बेहतर ढंग से एग्जाम लिया है लोगों में काफी खुशी है. क्योंकि क्वालिटी टीचर की बहाली हो रही है. शिक्षक बहाली में अनियमित का आरोप जीतन मांझी और भाजपा नेताओं की तरफ से लगाया जा रहा है इस पर मंत्री ने कहा कि यह सब फालतू बात है. कहीं कोई गड़बड़ी नहीं हुई है. रिजल्ट के बाद डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने बीपीएससी की पूरी टीम को बधाई दी थी. तेजस्वी ने अपने एक्स अकाउंट पर लिखा था कि इतिहास में कभी भी 60 दिनों के अंदर इतनी बड़ी संख्या में अभ्यर्थियों के लिए परीक्षा का आयोजन और नतीजे घोषित नहीं किए गए थे.
अशोक चौधरी थे उत्साहितः इस मौके पर मंत्री अशोक चौधरी ने कहा कि हमारी पार्टी के घोषणा पत्र में कहा गया है कि 10 लाख नौकरी और 10 लाख रोजगार देंगे. जबकि जदयू के घोषणा पत्र में इस बात का कोई जिक्र नहीं है. बल्कि मुख्यमंत्री ने महागठबंधन की सरकार बनने के बाद 15 अगस्त को इस बात का ऐलान किया था. अशोक चौधरी ने कहा कि हमारी बेटी का एक निजी स्कूल और बीएड कॉलेज है. उनके टॉप टीचर की बहाली हो गई. अब उनके यहां अच्छे टीचर की कमी हो गई है. यह तो रिफ्लेक्शन है.