पटना: देश के अन्य प्रदेश से वापस आए हुए प्रवासियों को 21 दिनों तक क्वारंटीन सेंटर में रखा जा रहा है. इन केंद्रों पर जिला प्रशासन के बदइंतजामी की कई तस्वीरें भी आए दिन सामने आ रही हैं. लेकिन पंडारक प्रखंड के ढ़िबर एनएच 31 के पास लक्ष्मी नारायण हाई स्कूल में बनाए गए क्वारंटीन केंद्र से एक अनोखी तस्वीर सामने आई है.
दरअसल, यहां पर प्रवासियों की सुरक्षा और सेवा में तैनात लोगों को प्रवासी मजदूर कोरोना का भय दिखाकर उन्हें डरा रहे हैं. इसको लेकर केंद्र पर तैनात इलेक्ट्रीशियन और ड्यूटी कर रहे शिक्षक का कहना है कि हमें 'मजदूर कहते हैं हम तुम्हें छूकर तुम्हें कोरोना संक्रमित बना देंगें'. कोरोना का भय दिखाकर वे हमें मानसिक रूप से प्रताड़ित कर रहे हैं. जबकि हमलोग उनकी सेवा में तत्पर हैं.
'24 घंटे चाहिए बिजली'
केंद्र में तैनात इलेक्ट्रीशियन गौतम बताते हैं कि देर रात को कुछ देर के लिए बिजली चली जाती है. इसके लिए केंद्र में रह रहे प्रवासी हमें देर रात उठाकर जबरन जेनरेटर सेट स्टार्ट करने को कहते हैं. जबकि बिजली महज कुछ मिनट के लिए जाती है. मजदूर हमें प्रताड़ित कर रहे हैं. कोरोना फैलाने का भय दिखाते हैं. मजदूरों का कहना है कि हम दिल्ली और मुंबई में रहते थे. यहां पर कभी भी बिजली नहीं जाती थी. इसलिए हमें गर्मी बर्दाश्त नहीं होती है.
'कोरोना फैला दूंगा'
वहीं, केंद्र पर तैनात शिक्षक अभिषेक मयंक बताते है कि जब कभी भी हेल्थ जांच या फिर किसी अन्य काम से केंद्र के टेंट से आनाउंस करते है तो केंद्र में रह रहे प्रवासी हमें ऐसा करने से मना करते हैं. उनका कहना है अनाउंस से उनकी नींद खराब हो जाती है. इसलिए अनाउंस नहीं किया जाए. प्रवासी हमारे सामने तरह-तरह की मांगे भी रख रहे हैं. भोजन के लिए फरमाइश भी किया जाता है. सरकारी इंतजाम और आदेश की बात कहने पर वे हमें पकड़ने की बात कहते हैं. कोरोना संक्रमित करने की धमकी देते हैं.
गौरतलब है कि इसी केंद्र से कुछ दिन पूर्व कोरोना संक्रमित प्रवासी की पुष्टि हुई थी. जिसके बाद यहां पर खाना बनाने वाले रसोइया काम छोड़ कर फरार हो गया था. इस परेशानी को देखते हुए एसडीएम सुमित कुमार ने केंद्र के बाहर टेंट लगाकर केंद्र में तैनात कर्मियों को रहने का इंतजम किया है. केंद्र के बाहर ही भोजन बनाता है और केंद्र में रह रहे प्रवासियों को खाना भी गेट के अंदर दूरी बनाकर ही दिया जाता है.