बिहार

bihar

ETV Bharat / state

बढ़ते अपराध को लेकर LJPR ने नीतीश सरकार के खिलाफ खोला मोर्चा, कल निकालेगी 'बिहार बचाओ मार्च'

बिहार में बढ़ते अपराध को लेकर 15 फरवरी को चिराग पासवान पटना में बिहार बचाओ पैदल मार्च (Chirag Paswan Bihar Bachao March) निकालेंगे. साथ ही वो राज्यपाल से नीतीश सरकार को बर्खास्त करने की मांग (Demand to sack Nitish Government) करेंगे.

By

Published : Feb 14, 2022, 3:17 PM IST

LJPR Bihar Bachao March
LJPR Bihar Bachao March

पटना:बिहार में बढ़ता अपराध (Crime increasing in Bihar) और अपराधियों में बढ़ते मनोबल को लेकर लोक जनशक्ति पार्टी रामविलास ने बिहार सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. एलजेपीआर बिहार में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग को लेकर 15 फरवरी को पटना के गांधी मैदान के पास स्थित लोकनायक जयप्रकाश नारायण की प्रतिमास्थल से राजभवन तक 'बिहार बचाओ मार्च' (LJPR Bihar Bachao March) निकालेगी. इसका नेतृत्व पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष व जमुई सांसद चिराग पासवान (Jamui MP Chirag Paswan) करेंगे.

ये भी पढ़ें-15 फरवरी को चिराग निकालेंगे 'बिहार बचाओ पैदल मार्च', LJPR की तैयारी शुरू: सरिता पासवान

दरअसल, चिराग पासवान इन दिनों बिहार की राजनीति में काफी सक्रिय हो गए हैं. बिहार में बढ़ते अपराध और जनता की तमाम समस्याओं को लेकर विपक्ष की अहम भूमिका में नजर आ रहे हैं. हालांकि, पुलिस के द्वारा इस मांग को लेकर पूरी तैयारी कर ली गई है. वहीं, बिहार बचाओ मार्च को डाक बंगला चौराहे पर ही रोक दिया जाएगा. पुलिस ने इस मार्च को लेकर पूरी तैयारी कर रखी है. चिराग पासवान ने अपने नेताओं और कार्यकर्ताओं को ज्यादा से ज्यादा व्यस्त रखने का भी निर्देश दिया है.

बिहार बचाओ मार्च के तहत महामहिम राज्यपाल फागू चौहान को पार्टी की ओर से ज्ञापन सौंपा जाएगा. दरअसल, राज्य में उत्पन्न स्थिति की विस्तृत जानकारी देते हुए उनसे अनुरोध किया जायेगा कि वे इस सरकार को अविलंब बर्खास्त करने के लिए केंद्र सरकार के पास अपनी सिफारिश भेजें. राज्य में अपराध की स्थिति चरम पर है. हत्या, लूट, दुष्कर्म और चोरी की घटनाएं रूकने का नाम नहीं ले रही हैं.

पटना के गायघाट शेल्टर होम में दुराचार की शर्मनाक घटना इस बात की गवाही देती है कि राज्य सरकार ने मुजफ्फरपुर बालिका गृह कांड से कोई सबक नहीं लिया. दलितों पर अत्याचार बढ़ा है. कई जिलों में दलित बच्ची के साथ दुष्कर्म की घटित घटनाएं गहरी चिंता की बात है. राज्य में जहरीली शराब से लगातार कई जिलों में हुई मौत सरकार की शराबबंदी नीति पर सवाल खड़ा करती हैं. शराबबंदी कानून के नाम पर माफियाओं को संरक्षण और गरीबों को प्रताड़ना झेलनी पड़ रही है.

दरअसल, लोजपाआर के अनुसार बिहार में पूरी व्यवस्था चरमरा गई है. चारों ओर त्राहिमाम और निराशा की स्थिति है, लेकिन इस स्थिति में सुधार के प्रति ना तो मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और ना ही उनके नेतृत्व में काम कर रहा प्रशासनिक तंत्र अपेक्षित भूमिका निभा रहा है. लोक जनशक्ति पार्टी रामविलास का आरोप है कि राज्य में सत्तारूढ़ नीतीश सरकार सभी मोर्चों पर पूरी तरह विफल साबित हुई है. सरकार की नाकामी और प्रदेश में उत्पन्न कुशासन की स्थिति के प्रति अपना विरोध प्रकट किया जाएगा.

प्रदेश में किसानों को खाद के लिए सड़क पर उतरना पड़ रहा है. केंद्र से पर्याप्त आवंटन के बावजूद इसकी कालाबाजारी हो रही है. रोजगार के लिए मजदूरों का पलायन जारी है. राज्य में शिक्षा व्यवस्था चरमरा गई है. स्कूल और कॉलेजों में पढ़ाई नहीं हो रही है. शैक्षणिक सत्र विलंब से चल रहे हैं. वहीं, बड़ी संख्या में शिक्षकों की मांग को अनसुना किया जा रहा है. बेरोजगारी दूर करने के कोई उपाय नहीं किए जा रहे हैं. इसके उलट परीक्षा में धांधली का विरोध करने उतरे छात्रों पर पुलिसिया दमन किया गया.

ये भी पढ़ें-LJPR सांसद चिराग बोले- 'बिहार में शराबबंदी फेल, राष्ट्रपति शासन लगाकर हो मध्यावधि चुनाव'

विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करेंETV BHARAT APP

ABOUT THE AUTHOR

...view details