पटना:बिहारमें डेंगू के मामले बढ़ने लगे हैं और राजधानी पटना में डेंगू का प्रकोप (Dengue in Patna) काफी बढ़ गया है. पटना में बुधवार को डेंगू के 78 नए मरीज मिले हैं. सरकारी आंकड़ों के मुताबिक डेंगू के मरिजों की संख्या 994 हो गई है. जबकि, सरकारी अधिकारी भी इस बात को स्वीकारते हैं कि डेंगू के वास्तविक मामलों की संख्या 1 से 3 और तीन से चार गुना अधिक होगी, क्योंकि प्राइवेट लैव की जांच रिपोर्ट सिविल सर्जन कार्यालय तक नहीं पहुंच रहे हैं.
ये भी पढ़ें- मोतिहारी में डेंगू के इलाज के लिए प्राइवेट अस्पताल पहुंच रहे लोग
पटना में डेंगू का प्रकोप: पटना में बढ़ते डेंगू के प्रकोप के बीच राजधानी में बकरी के दूध की डिमांड काफी बढ़ गई है. इसके अलावा आयुर्वेदिक दुकानों पर पपीते के पत्ते के एक्सट्रैक्ट वाले टेबलेट की डिमांड भी काफी बढ़ गई है. पपीते के पत्ते के एक्सट्रैक्ट वाले टेबलेट कई दुकानों से आउट ऑफ स्टॉक हो चुके हैं. वहीं बकरी के दूध की भी किल्लत चल रही है, इस वजह से बकरी का दूध काफी महंगा हो गया है.
बकरी की दूध की बढ़ी डिमांड: पटना में बकरी का दूध 500 से 600 रुपए प्रति लीटर की दर से बिक रहा है. बेली रोड के रुकनपुरा स्थित बकरी बाजार में काफी संख्या में लोग पहुंच रहे हैं, जो बकरी के दूध की डिमांड कर रहे हैं, लेकिन बकरी काफी कम दूध देती है, एक बकरी आधा लीटर से डेढ़ लीटर तक ही दूध देती है. ऐसे में दूध की किल्लत हो रही है और लोगों में डिमांड बढ़ गई है.
"मेरे भाई को डेंगू हुआ है. 2 दिनों से बकरी का दूध पिला रहे हैं और इससे उसकी तबीयत में काफी सुधार हुआ है. आज यहां दूध खरीदने पहुंचे लेकिन दूध नहीं मिला. कई जगहों से घूम कर आ चुके हैं. बकरी के दूध की काफी किल्लत चल रही है."-मोहम्मद इमरान, डेंगू पीड़ित का भाई
"बकरी के दूध में काफी मात्रा में विटामिन मिलता है, कैल्शियम मिलता है, पोटैशियम मिलता है और यह शरीर में प्लेटलेट्स को काफी तेजी से बढ़ाते हैं. बकरी का दूध काफी सुपाच्य होता है गाय और भैंस के दूध के मुकाबले. एक कप बकरी के दूध में 168 कैलोरी, 9 ग्राम प्रोटीन, 10 ग्राम फैट मिलता है. अभी बकरी के दूध की डिमांड काफी बढ़ी हुई है, क्योंकि पटना में डेंगू के मामले बहुत अधिक बढ़ गए हैं. अभी के समय बकरी के दूध 500 से लेकर 600 प्रति लीटर की दर से बिक रहा है."-अमित कुमार, बकरी पशुपालक
डेंगू में पपीता का पत्ता कारगर: पटना के वरिष्ठ फिजीशियन डॉ दिवाकर तेजस्वी ने बताया कि डेंगू के बीमारी में पपीता का पत्ता का इस्तेमाल और बकरी के दूध का इस्तेमाल कितना कारगर है. इसको लेकर अभी मेडिकल फील्ड में अधिक रिसर्च नहीं हुआ है. लेकिन अलग-अलग केसेज में इंडिविजुअल पर स्टडी करने पर देखने को मिला है कि इसके सेवन से डेंगू मरीजों के प्लेटलेट्स में सुधार हुआ है.
"पपीता के पत्ते के एक्सट्रैक्ट वाले बाजार में कई सारे टेबलेट से आ गए हैं, लेकिन कई लोग क्या करते हैं कि अधिक टेबलेट खाने लगते हैं. इसके साथ ही पपीता का पत्ता उबालकर पीने भी लगते हैं. ऐसे में मरिज को को उल्टी होने लगती है और शरीर और कमजोर होता है. चिकित्सक के परामर्श पर ही निर्धारित मात्रा में पपीता एक्सट्रैक्ट वाली टेबलेट का सेवन करें. बकरी का दूध भी सुपाच्य माना जाता है. लेकिन बकरी के दूध को ताजा-ताजा कच्चा नहीं पिया जाता है. जब भी पिए तो उबालकर 1 से 2 कप दूध पिए. दूध कोई भी हो गाय का या बकरी का, यह शरीर के इम्यून सिस्टम को मजबूत करता है."-डॉ दिवाकर तेजस्वी, फिजीशियन
ये भी पढ़ें- बिहार में डेंगू मरीजों का आंकड़ा 1,755 के पार, पटना में एक दिन में 113 मरीजों की पुष्टि