पटना: बिहार में कोरोना संक्रमण तेजी से बढ़ रहा है. अस्पतालों में मरीजों के लिए बेड खाली नहीं हैं. वहीं, कई मरीज इलाज के अभाव में दम तोड़ रहे हैं. श्मशान घाट पर लाशों की कतार लगी है. शव के अंतिम संस्कार के लिए लोगों को 3-4 घंटे तक इंतजार करना पड़ता है. लोग कह रहे हैं कि सरकार के अधिकारी मौत के आंकड़ों को छिपाने में जुटे हैं.
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डरा रहा मौत का आंकड़ा
बिहार में कोरोना की दूसरी लहर खतरनाक साबित हो रही है. मौत के आंकड़ों से पटना के लोग दहशत में हैं. राजधानी पटना स्थित बांस घाट की स्थिति भयावह है. यहां हर रोज 25-30 शव का अंतिम संस्कार हो रहा है, जबकि सरकारी आंकड़े कुछ और बता रहे हैं. स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों के अनुसार 10 अप्रैल को 3, 11 अप्रैल को 1, 12 अप्रैल को 1, 13 अप्रैल को 1 और 14 अप्रैल 4 लोगों की मौत हुई. वहीं, बांस घाट में रोज 25-30 शव आ रहे हैं.
अंतिम संस्कार के लिए करना पड़ रहा इंतजार
"शव का अंतिम संस्कार करने आया हूं. दो-तीन घंटे से इंतजार कर रहा हूं, लेकिन बारी नहीं आई है. अंदर 10-12 शव हैं. नंबर आने पर मुझे बुलाया जाएगा."- राहुल
"बुधवार को 20 से ज्यादा कोरोना संक्रमित लोगों के शव का अंतिम संस्कार यहां हुआ था. गुरुवार को अब तक 15 शव का अंतिम संस्कार हो चुका है."- उदय कुमार, बांस घाट में पदस्थापित स्वास्थ्य कर्मी