नवादाः गर्मी शुरू होते ही अगलगी की घटनाएं बढ़ जाती हैं. हर साल करोड़ों की संपत्ति राख हो जाती है. कई लोग बेघर हो जाते हैं. इस साल भी कुछ ऐसा ही आलम है. अभी तो गर्मी की शुरुआत हुई है और अगलगी की घटनाओं में इजाफा हो गया है. चिंता इस बात की है कि बिहार अग्निशमन सेवा के तहत कार्य कर रहे जिला स्थित विभाग में संसाधनों का घोर अभाव है.
आकड़ों के मुताबिक अगलगी के कारण जनवरी माह से अब तक करीब 20 लाख से अधिक की संपत्ति का नुकसान हो चुका है. करीब 45-50 लाख की संपत्तियों को अग्निशमन विभाग की सक्रियता से बचाया जा चुका है. लेकिन चिंता कि बात ये है कि जिला मुख्यालय में महज तीन अग्निशमन वाहन हैं. जिसमें एक खराब पड़ा है. एक बड़ा वाहन है, जिसमें 28 सौ लीटर पानी की क्षमता है. लेकिन वो भी काफी पुरानी हो चुका है. एक मझले साइज का वाहन है, जिसके भरोसे ही जिला मुख्यालय और उसके आस-पास के इलाके की सुरक्षा की जा रही है.
विभाग में संसाधन का अभाव
इस वक्त जिला मुख्यालय को कम से कम दो अतिरिक्त अग्निशमन वाहन की और आवश्यकता है. इतना ही नहीं करीब 23 लाख आबादी वाले इस जिले में अगर थानावार अग्निशमन की संख्या देखी जाय तो इसका घोर अभाव है. अभी भी 20 थाना में से सिर्फ 10 थाना पर अग्निशमन वाहन मौजूद है. बाकी थाना क्षेत्र के लोग और उनकी संपत्ति भगवान भरोसे है. हालांकि पिछले दो सालों में पहले की अपेक्षा स्थिति में कुछ सुधार हुवा है. जिन थानों को अग्निशमन वाहन नहीं मिला है उनमें काशीचक, पकरीबरावां, मुफस्सिल, रूपो, सीतामढ़ी और बुंदेलखंड शामिल है.