नालंदा: जिले के लाल शहजाद अंजुम ने बिहार लोक सेवा आयोग के 68वें परीक्षा में 258वां रैंक हासिल कर SC/ST का कल्याण पदाधिकारी बन जिले का नाम रौशन किया है. उनकी सफलता से पूरा परिवार फूले नहीं समा रहा है.
बचपन में ही सिर से उठ गया पिता का साया: शहजाद अंजुम मुख्यालय बिहारशरीफ के खानकाह मोहल्ला निवासी स्व. डॉ. मो. अज़मत महमूद के 7 संतानों में सबसे बड़ा पुत्र है. घर की आर्थिक स्थिति सही नहीं होने के साथ कम उम्र में ही सर से पिता का साया उठ चुका था, जो एक मदरसा में नौकरी करते थे.
छप्पर नुमा घर की छत से टपकता है बारिश का पानी: उन्होंने यह सफलता तीसरी बार में हासिल की है. यही नहीं घर छप्पर नुमा बना हुआ है. सबसे ज्यादा परेशानी बरसात के मौसम में होती है, जब बारिश की वजह से कमरे में पानी टपकता है. इसके कारण घरवालों को खासी परेशानी होती है और रहना दुश्वार हो जाता है.
'तालीम कभी नहीं बंटती': मां इफ्फत आरा ने कहा कि दौलत भले ही बंट जाता है लेकिन तालीम कभी नहीं बंटती है. इसलिए दुख सहकर बच्चों को पढ़ाया. बेटे की सफलता से घर परिवार मोहल्ले वालों में खुशी का माहौल है.
"इसके लिए बड़े बुजुर्गों की दुआएं और बच्चे की मेहनत काम आयी है. घर की हालत से हम 9 साल तक परेशान रहे, लेकिन अब दिन बदल जाएंगे. ऊपर वाले को हमलोगों पर दया आ गई और दुआ कबूल कर लिए."-इफ्फत आरा, शहजाद अंजुम की मां