मुजफ्फरपुर: बिहार में कार्तिक पूर्णिमा के मौके पर गंगा तटों पर श्रद्धालुओं ने लगाई आस्था की डुबकी लगाई. घाट पर श्रद्धालुओं के आने का सिलसिवला सोमवार देर शाम तक जारी रहा. ऐसे में आज सुबह से ही सूरज के उगते ही गंगा में आस्था की डुबकी लगाकर भक्तों ने पूरे मन से पूजा-अर्चना की. मान्यता है कि कार्तिक पूर्णिमा के दिन गंगा स्नान कर पूजा अर्चना करने से पुण्य की प्राप्ति होती है.
सुबह 4 बजे से ही स्नान व पूजा शुरू:मुजफ्फरपुर शहर के बूढ़ी गंडक नदी के अखाड़ाघाट, सीढ़ीघाट एवं आश्रमघाट के अलावा विभिन्न घाटों पर स्नान कर श्रद्धालु मंदिरों में पूजा-पाठ किया. इसके लिए श्रद्धालु सिकंदरपुर घाट पर सुबह से ही पहुंचने लगे थे. इन सभी श्रद्धालुओं ने सोमवार की सुबह 4 बजे से ही स्नान व पूजा शुरू कर दिया था.
बाबा का फूल व फलों से महाश्रृंगार:बाबा गरीबनाथ मंदिर के पुजारी पं. अभिषेक पाठक ने बताया कि कार्तिक पूर्णिमा पर मंदिर में काफी संख्या में श्रद्धालु सत्यनारायण भगवान की पूजा कराने पहुंचते हैं. इसे लेकर विशेष व्यवस्था की गई है. उन्होंने बताया कि सुबह 4 बजे मंदिर में प्रधान पूजा के पश्चात साज-बाज के साथ सामूहिक आरती होगी. इसके बाद श्रद्धालु मंदिर में बाबा का जलाभिषेक करेंगे. मंदिर में कार्तिक पूर्णिमा पर होने वाली अत्यधिक भीड़-भाड़ को ध्यान में रखते हुए तैयारी पूरी कर ली गई है. रात में बाबा का फूल व फलों से महाश्रृंगार किया जाएगा.
"मंदिर में कार्तिक पूर्णिमा के दिन काफी संख्या में श्रद्धालु पूजा-अर्चना के लिए पहुंचते हैं. इसको ध्यान में रखते हुए स्वंय सेवकों की तैनाती की जाएगी. सुबह 5 बजे से लेकर रात्रि 9 बजे तक मंदिर लगातार आम श्रद्धालुओं के लिए खुला रहेगा." - पं. संजय ओझा, महंत, बाबा सर्वेश्वरनाथ मंदिर, ब्रह्मपुरा.