मुंगेर: मोदी सरकार (Modi Government) की अग्निपथ योजना (Agnipath Scheme) के विरोध में बिहार में शुरू हुआ बवाल थमने का नाम नहीं ले रहा है. विरोध शुरू होने के तीसरे दिन भी सूबे के अलग अलग जिलों में नाराज छात्र सड़कों पर उतर आए और सेना भर्ती की नई स्कीम के खिलाफ उग्र प्रदर्शन किया. आज सुबह मुंगेर में भी प्रदर्शनकारी सड़कों पर उतर आए यातायात पूरी तरह बाधित कर दिया. इस दौरान तारापुर में उपद्रवियों ने जमकर उत्पात मचाया. बीडीओ की गाड़ी पर हमला (Attack on BDO Vehicle in Munger) किया गया.
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मुंगेर में बीडीओ की गाड़ी पर हमला: बिहार में 'अग्निपथ' योजना को लेकर विरोध प्रदर्शन के बीच मुंगेर में भी जमकर बवाल देखने को मिला. यहां बिहार बंद के दौरान बंद समर्थकों ने जमकर हंगामा किया. मुंगेर के तारापुर थाना चौक को प्रदर्शनकारियों ने जाम कर दिया. इस के बाद उपद्वियों ने प्रखंड विकास पदाधिकारी (BDO) के सरकारी वाहन को क्षतिग्रस्त कर दिया. तारापुर प्रखंड कार्यालय परिसर में जमकर तोड़फोड़ की गई. वकीलों के चैंबर में लगे कुर्सी टेबल को तोड़ दिया गया. जिले में कई जगहों पर तोड़फोड़ और आगजनी की खबरें है.
'असामाजिक तत्वों से सख्ती से निपटा जाएगा' : इससे पहले शनिवार सुबह किला परिसर स्थित समाहरणालय परिसर में एसडीएम खुशबू गुप्ता, एसडीपीओ नंदनी प्रसाद ने पुलिस पदाधिकारी एवं पुलिस जवानों को शांति व्यवस्था कैसे बनाया जाए इसको लेकर बैठक हुई. बैठक के बाद एसडीएम खुशबू गुप्ता ने बताया कि अग्निपथ स्किम के विरोध में छात्रों के साथ असामाजिक तत्व तोड़फोड़ और आगजनी कर रहे हैं. इनसे सख्ती से निपटने के लिए हमारी पुलिस पूरी तरह तैयार है.
बिहार के कई जिलों में तोड़फोड़ और आगजनी: सेना की नई अग्निपथ योजना के खिलाफ बिहार के छात्र-युवा संगठन आईसा-इनौस, रोजगार संघर्ष संयुक्त मोर्चा और सेना भर्ती जवान मोर्चा ने शनिवार को बिहार बंद की घोषणा की है. बंद को लेकर सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध के दावे किए गए हैं. इधर, बंद की सुबह ही शरारती तत्व सक्रिय हो गए और जहानाबाद जिले में एक खड़ी बस और ट्रक में आग लगा दिया. मुंगेर में उपद्रवियों ने तारापुर में बीडीओ की गाड़ी में तोड़फोड़ की. वहीं मसौढ़ी में उग्र प्रदर्शनकारियों द्वारा जमकर पथराव किया गया. मसैढ़ी में सभी दुकानें बंद हो गई. मसौढ़ी और तरेगना रेलवे स्टेशन पर भी पथराव की सूचना है.
'अंग्निपथ स्कीम' से क्यों नाराज है छात्र : दरअसल, 2020 से आर्मी अभ्यर्थियों की कई परीक्षाएं हुई थी. किसी का मेडिकल बाकी था तो किसी का रिटेन. ऐसे सभी अभ्यर्थियों की योग्यता एक झटके में रद्द कर दी गई. पहले ये नौकरी स्थाई हुआ करती थी. मतलब सरकारी नौकरी का ख्वाब इससे नौजवान पूरा करते थे. नई स्कीम की तहत बताया गया कि अब चार साल की नौकरी होगी. इसमें सिर्फ 25 प्रतिशत अग्निवीरों को स्थाई किया जाएगा. 75 प्रतिशत चार साल बाद रिटायर हो जाएंगे. उनको पेंशन समेत बाकी सुविधाएं नहीं मिलेंगी. बिहार जैसे राज्य में जहां ज्यादातर युवाओं का एक ही लक्ष्य कह लीजिए या सपना सरकारी नौकरी होता है, ऐसे में सपना टूटता देख छात्र सड़कों पर उतर गए.
क्या है 'अग्निपथ' योजना : आइये जानते है कि आखिर क्या है अग्निपथ योजना (what is agneepath scheme) केंद्र की अग्निपथ योजना के तहत इस साल 46 हजार युवाओं को सहस्त्र बलों में शामिल किया जाना है. योजना के मुताबिक युवाओं की भर्ती चार साल के लिए होगी और उन्हें ‘अग्निवीर’ कहा जाएगा. अग्निवीरों की उम्र 17 से 23 वर्ष के बीच होगी और 30-40 हजार प्रतिमाह वेतन मिलेगा. योजना के मुताबिक भर्ती हुए 25 फीसदी युवाओं को सेना में आगे मौका मिलेगा और बाकी 75 फीसदी को नौकरी छोड़नी पड़ेगी.
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