मुंगेर: जिले में मस्तिष्क ज्वर और प्रतिरक्षण टीकाकरण अभियान 7 जुलाई से 15 जुलाई तक घर-घर जाकर बच्चों के लिए चलाया जाना था. इस कार्य मे लगे एएनएम ने डोर टू डोर जाकर टीका लगाने से इनकार कर दिया है. इससे जिले में अब टीकाकरण अभियान बंद हो गया है. एएनएम का कहना है कि इस संक्रमण काल में बिना सुरक्षा के कार्य कराया जा रहा है.
टीकाकरण के लिए रेड जोन में भेजा गया
इस बाबत तारापुर की एएनएम आभा सिंह ने बताया की हमलोगों को 70 किलोमीटर दूर से मुख्यालय ड्यूटी करने के लिए बुलाया गया है. जबकि मुख्यालय के सभी एएनएम किसी न किसी कार्य को दर्शाते हुए टीकाकरण का काम नही कर रही है. हमें इस क्षेत्र की जानकारी नहीं है. रेड जोन कहां है यह भी हमें नहीं पता. मुंगेर शहरी क्षेत्र में जिस तरह कोरोना का संक्रमण पिछले सप्ताह से बढ़ा है, उसके बीच हम लोग काम नहीं कर सकते. हम लोग सीधे बच्चों के संपर्क में जाते हैं. उन्हें टीका लगाते हैं. इससे खुद और बच्चों को संक्रमण होने का खतरा बढ़ जाता है.
टीकाकरण के नाम पर फैल सकता है संक्रमण
एएनएम राखी कुमारी ने बताया कि हम लोगों को स्वास्थय विभाग सेनेटाइजर, हेयर कभर, मास्क, पीपीई किट तक नहीं देता है. ऐसे में बिना सुरक्षा के हम लोग काम करने जा नहीं जा सकेते हैं. पुष्पा रानी ने बताया कि जिस तरह से कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है, ऐसे में हम लोग काम करने में सक्षम नहीं है. जब कोरोना का संक्रमण कम होगा तो हमलोग कार्य करेंगे. उन्होंने कहा कि ऐसे में तो टीकाकरण के नाम पर संक्रमण फैल जाएगा.
एएनएम बन सकते हैं कोरोना के वाहक
एएनएम प्रमुख विभा रानी का ने बताया कि यह स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही है. उन्होंने बताया कि हम लोगों को डोर टू डोर टीकाकरण अभियान के लिए रेड जोन में भी भेज दिया जाता है. मंगलवार को जब हम लोग माधोपुर गली नंबर 4 में टीकाकरण के लिए पहुंचे तो स्थानीय लोगों ने कहा कि इस इलाके में कोरोना संक्रमित मरीज मिला है. ऐसे में हमलोग कोरोना के वाहक बन सकते हैं. वहीं एएनएम ने वर्तमान समय में कोरोना संक्रमण को देखते हुए इस कार्य को आगे करवाने की मांग की है. साथ ही उन्होंने कहा कि संबंधित प्रखंड के एएनएम को ही टीकाकरण कार्य में लगाया जाए.