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किशनगंज में लगातार बढ़ रही एड्स रोगियों की तदाद, सदर अस्पताल में नहीं है विशेष व्यवस्था

किशनगंज में एड्स के रोगी जिला सदर अस्पताल से कटिहार सदर अस्पताल का चक्कर काट रहे हैं. जिले में एड्स के मरीजों की संख्या में भी लगातार इजाफा हो रहा है.

किशनगंज सदर अस्पताल

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Published : Aug 5, 2019, 4:14 PM IST

किशनगंज: नेपाल सीमा पर बसे किशनगंज में एड्स रोगियों की तादाद बढ़ती जा रही है. जिले में एड्स के मरीजों की संख्या दो सौ पचास के पार पहुंच गई है.
मरीजों के लिए नहीं है व्यवस्था
किशनगंज सदर अस्पताल में एड्स के मरीजों के लिए विशेष व्यवस्था नहीं है. यहां केवल मरीजों के लिए जांच कि सुविधा उपलब्ध है. अगर रोगी एड्स पॉजिटिव होता है तो उसे कटिहार भेज दिया जाता है. खुद विभाग के सलाहकार ने स्वीकार किया कि अस्पताल में इस बीमारी के लिए कोई डॉक्टर मौजूद नहीं है. इसीलिए हम लोग सिर्फ जांच कर और काउंसिलिंग कर रोगी को कटिहार भेज देते हैं.

किशनगंज में बढ़ रही एड्स रोगियों की संख्या
उम्रभर खानी होती है दवाविभाग के सलाहकार ने बताया कि किशनगंज सदर अस्पताल में एड्स की जांच 3 बार की जाती है. इसके बाद ही किसी नतीजे पर पहुंचा जाता है. एक बार किसी को एड्स हो जाने पर उम्र भर इसकी दवा खानी पड़ती है. उन्होंने कहा कि बाहर राज्य में मजदूरी का काम करने वाले इस रोग के शिकार हैं. वो बाहर से ही ये बीमारी अपने साथ लाते हैं. फिर ये बीमारी उनके बीवी और बच्चो में भी फैल जाती है.

प्रभारी सिविल सर्जन ने बताया
जिले के प्रभारी सिविल सर्जन डॉक्टर रफड ने बताया कि एड्स की रोकथाम के लिए जिले में कार्यक्रम चलाया जा रहा है. जिले के सभी पंचायतों में स्वास्थ्य विभाग के माध्यम से लोगों को जागरूक करने का काम किया जा रहा है. इस जटिल बीमारी के बारे में लोगों को वहम भी है. यह छूआछूत की बीमारी नहीं है. रोगी को छूने से यह रोग नहीं फैलता है. यह एक ऐसा रोग है जो असुरक्षित यौन संबध बनाने से या प्रदूषित खून चढ़ाने से होता है.

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