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राम मंदिर भूमि पूजन में होगा कात्यायनी स्थान की मिट्टी और अगुआनी घाट के गंगाजल का प्रयोग - विश्व हिंदू परिषद

5 अगस्त को अयोध्या में राम मंदिर के भूमिपूजन के कार्यक्रम का आयोजन किया गया है. इसमें मां कात्यायनी स्थान की मिट्टी और अगुआनी घाट के गंगाजल के उपयोग से लोग काफी खुश हैं.

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Published : Jul 27, 2020, 1:20 PM IST

Updated : Jul 27, 2020, 1:29 PM IST

खगड़िया: राम मंदिर विवाद पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अयोध्या में मंदिर निर्माण का काम तेज हो गया है. भगवान राम का भव्य मंदिर बनाने के लिए अयोध्या में शिलान्यास का एक बड़ा कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है. इसके लिए देश की प्रसिद्ध नदियों के जल और सभी मंदिरों की पवित्र मिट्टी इकट्ठा की जा रही है. इसी क्रम में जिले से मां कात्यायनी स्थान मंदिर की मिट्टी और अगुआनी घाट का गंगाजल भेजा जा रहा है.

हिंदू परिषद व बजरंग दल के कार्यकर्ता भेजेंगे मिट्टी
5 अगस्त 2020 को राम मंदिर निर्माण के लिए भूमि पूजन का आयोजन किया गया है. मां कात्यायनी स्थान की मिट्टी व गंगाजल विश्व हिंदू परिषद व बजरंग दल के कार्यकर्ता भेजेंगे. जिले के राम भक्त व संगठन के कार्यकर्ता इसे लेकर काफी उत्साहित दिख रहे हैं.

देखें रिपोर्ट

सभी शक्ति पीठों की मिट्टी का होगा उपयोग
मां कात्यायनी स्थान मंदिर देश के 52 शक्ति पीठ में से एक है. पौराणिक कथाओं के अनुसार यहां माता सती की दाईं भुजा गिरी थी. बजरंग दल व विश्व हिंदू परिषद का कहना है कि देश के सभी शक्ति पीठों से पवित्र मिट्टी राम मंदिर भूमि पूजन में उपयोग की जा रही है. इस वजह से यहां से भी मिट्टी मंगवाई गई है.

विश्व हिंदू परिषद व बजरंग दल के कार्यकर्ता

गौरवान्तित महसूस कर रहे हैं लोग
अगुआनी घाट के गंगाजल के बारे में मान्यता है कि यहां गंगा उत्तर की दिशा में बहती है. जिससे किसी भी पवित्र काम में यहां के गंगाजल का उपयोग किया जाता है. रामभक्तों ने बताया कि मिट्टी व गंगाजल मुजफ्फरपुर के कार्यालय में भेजा जाएगा और वहां से अयोध्या जायगा. राम मंदिर निर्माण में खगड़िया की मिट्टी व गंगाजल के उपयोग से यहां के स्थानीय लोग काफी गौरवान्तित महसूस कर रहे हैं.

मां कत्यायनी मंदिर
Last Updated : Jul 27, 2020, 1:29 PM IST

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