कैमूर (भभुआ):एक तरफ प्रदेश सरकार बच्चों को स्कूल में अधिक से अधिक आए और स्वच्छ स्कूल रहे इसके लिए कायाकल्प के तहत लाखों रुपए खर्च कर रही है. वहीं, गांव के कुछ लोग विद्यालय परिसर को अपना खलिहान (Barn Made Of Pre Secondary School) बना रखा है. बच्चों को खेलने में परेशानी उठानी पड़ती है. विद्यालय परिसर में धान का बोझा रखने से बच्चे विद्यालय परिसर में खेल नहीं पाता जिससे बच्चों का पढ़ाई में भी मन नहीं लग पा रहा है.
इसे भी पढ़ें:कोरोना का खौफः बच्चों को स्कूल भेजने से डर रहे अभिभावक, शिक्षा विभाग ने कहा- फिलहाल खुले रहेंगे शिक्षण संस्थान
मामला भगवानपुर प्रखण्ड के केसर पंचायत के बहुरी न्यू प्राथमिक विद्यालय का है. जहां ग्रामीण स्कूल में बाउंड्री नहीं होने का हवाला देते हुए धान का बोझा स्कूल परिसर में ही रख रहे हैं. स्कूल के शिक्षकों के माध्यम से कई बार ग्रामीणों को मना किया जाता रहा है लेकिन सुनने वाला कोई नहीं है. स्कूल में धान रखा होने से बच्चों को खेलने के लिए पर्याप्त जगह नहीं मिल पा रहा है. जिससे बच्चे न ढंग से पढ़ पा रहे और न ही खेल पा रहे हैं.