गया: जिला के टिकारी में अवैध रूप से संचालित नर्सिंग होम व फर्जी डॉक्टर का जांच दस्ते ने भंडाफोड़ किया. टिकारी एसडीएम के आदेश पर गठित जाँच टीम ने टिकारी सलेमपुर मार्ग स्थित रानी नर्सिंग होम ऑर्थो सेंटर में छापेमारी की. नर्सिंग होम को सील कर सभी आवाश्यक कार्रवाई करते टीम ने विस्तृत रिपोर्ट एसडीएम को सौंप दिया.
बिना डिग्री के डाक्टर चला रहा था नर्सिंग होम
इस छापेमारी के दौरान नर्सिंग मौजूद डॉ अरुण कुमार शर्मा की योग्यता और नर्सिंग होम की वैधता से संबंधित किसी भी तरह की जानकारी टीम को नही मिली. मौके पर दंडाधिकारी के रूप में मौजूद प्रखण्ड कृषि पदाधिकारी गोपाल रंजन की टीम ने पूरे नर्सिंग होम का जायजा लिया. वहां कई प्रकार की अनियमितता पाई जाने के बाद जांच दस्ते ने नर्सिंग होम को सील कर दिया.
वहीं, टीम को नर्सिंग होम में बिना किसी डिग्री के चिकित्सक बने डॉ अरुण शर्मा ही मरीजों का इलाज कर रहे थे. हालांकि नर्सिंग होम में 6 चिकित्सकों का नाम अंकित है. जिनमे से कोई भी जांच के वक्त नर्सिंग होम में मौजूद नहीं थे. टीम ने जांच के दौरान डॉक्टर के पुर्जा, रजिस्टर व ऑपरेशन के समय मरीज के परिजन से ली जाने वाली घोषणा पत्र की रजिस्टर सीज कर अपने साथ ले गई. गठित टीम में प्रखण्ड कृषि पदाधिकारी गोपाल रंजन, अस्पताल उपाधीक्षक डॉ सरोज कुमार सिंह, डॉ विश्वमूर्ति मिश्रा, अस्पताल के प्रधान सहायक विकास कुमार व अन्य सहायक निराला शामिल थे. वहीं टीम के साथ टिकारी थानाध्यक्ष रामलखन पंडित व प्रशिक्षु आईपीएस सह एएसपी रौशन कुमार दल बल के साथ उपस्थित थे.
महिला का ऑपरेशन कर निकाल दिया था छोटी आंत
बता दें कि बीते माह टिकारी थानाक्षेत्र के पलुहड़ ग्राम की रहने वाले रवि कुमार पांडेय की पत्नी अन्नपूर्णा देवी के इलाज के क्रम में टिकारी के सुमन आरोग्य केंद्र में ऑपरेशन कर छोटी आंत निकाल दिया था व बड़ी आंत एवं बच्चेदानी को क्षतिग्रस्त कर दिया गया था. महिला की शिकायत के आलोक में पीएमसीएच की चिकित्सकों की टीम ने सुमन आरोग्य केन्द्र में छापेमारी की थी और नर्सिंग होम को सील कर दिया था.
हालांकि अब तक मामले में नामजद तीन चिकित्सक डॉ सुरेंद्र प्रसाद, डॉ उज्ज्वल प्रसाद व डॉ रविंद्र कुमार उर्फ पाली जी फरार है. उक्त मामले को लेकर पीएमसीएच में जीवन व मृत्यु से जूझ रही महिला ने फर्द बयान दर्ज कराकर कहा है कि बीते 9 नवम्बर को सुमन आरोग्य केंद्र के चिकित्सकों ने बिना किसी परिजन की सहमति से ऑपरेशन कर दिया गया. महिला की तबियत बिगड़ने पर डॉ उज्ज्वल प्रसाद के गया स्थित रेनबो अस्पताल में ले जाया गया. जहां महिला की तबियत नहीं सुधरने पर गया मेडिकल जांच के लिए भेजा गया. अस्पताल प्रशासन ने महिला की गंभीर हालत को देखते हुए महिला को पटना पीएमसीएच रेफर कर दिया. जहां महिला के पेट के अंदर से छोटी आंत गायब मिले व बड़ी आंत व बच्चेदानी को क्षतिग्रस्त किया हुआ पाया गया.
फर्जी चिकित्सकों के इस कारनामे के बाद एसडीएम करिश्मा ने टीम का गठन कर क्षेत्र स्थित सभी अवैध रूप से संचालित नर्सिंग होम व फर्जी चिकित्सकों के क्लिनिक की जाँच करने का आदेश दिया है. उसी क्रम में डॉ अरुण कुमार शर्मा के क्लिनिक पर छापेमारी की गई.