दरभंगा:बिहार के दरभंगा मेंमध्याह्न भोजन खाने से 15 छात्रों की हालत अचानक बिगड़ (Children deteriorated due to mid day meal in Darbhanga) गयी और उन्हें पेट दर्द और चक्कर आना शुरू हो गया. इसके बाद अध्यापकों ने उनका मुंह धुलाया, लेकिन फिर भी उनकी हालत में कोई सुधार नहीं हुआ. इसके बाद शिक्षकों ने इसकी जानकारी उनके परिजनों को दी. मौके पर पहुंचे परिजन अपने बच्चों को लेकर अस्पताल गये. जहां उनका इलाज चल रहा है.
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कुछ छात्रों की हालत गंभीर होने पर उन्हें डीएमसीएच में भर्ती (Students admitted in DMCH) कराया गया है. इस दौरान परिजनों ने शिक्षा विभाग पर लापरवाही (Negligence of education department in Darbhanga) बरतने का आरोप लगाया और छात्रों ने विद्यालय के बाहर जमकर प्रदर्शन किया. सूचना मिलने पर पहुंची पुलिस ने छात्रों को समझाकर मामला शांत कराया. रत्नोपट्टी काली स्थान मध्य विद्यालय की है.
इस पूरे मामले में स्कूल के छात्र दिलीप कुमार ने बताया कि लगभग 12 बजे बाहर से मध्याह्न भोजन आया . जिसे खाने के बाद कई बच्चों का पेट दर्द करने लगा और कई को चक्कर आने लगा. जिससे स्कूल में अफरा-तफरी मच गई और बच्चों को अस्पताल ले जाया गया. इस दौरान छात्रों के अभिभावकों ने कहा कि बाहर से जो मध्याह्न भोजन आता है. उसकी क्वालिटी अच्छी नहीं होती है. उन्होंने कहा कि बच्चों की तबियत खराब होने पर शिक्षकों ने लापरवाही भी की. जब बच्चे बीमार पड़ गए तो शिक्षक कह रहे थे कि बच्चे नाटक कर रहे हैं. काफी देर के बाद उन्हें सूचना मिली तब जाकर वे अपने बच्चों को अस्पताल में ले गए.
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स्कूल के प्रधानाध्यापक मदन लाल पोद्दार ने कहा कि एकता फाउंडेशन नामक एनजीओ से दरभंगा शहर के 102 विद्यालयों में मध्याह्न भोजन आता है. उन्होंने कहा कि उनके विद्यालय के 98 बच्चों के लिए मध्याह्न भोजन आया था. जिसे स्कूल के शिक्षकों ने पहले चखा और बाद में बच्चों को खिलाया. इनमें से 15 बच्चे बीमार हो गए जिन्हें डीएमसीएच ले जाया गया. वे खुद स्थानीय वार्ड पार्षद के साथ बच्चों को डीएमसीएच में देखने गए थे. वहां डॉक्टरों ने बच्चों की स्थिति में सुधार बताया है.
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