बक्सर:वैश्विक आपदा कोरोना वायरस के कारण पूरे देश में लॉकडाउन किया गया. अचानक हुए लॉकडाउन के कारण सबसे अधिक परेशानी दिहाड़ी मजदूरों को झेलनी पड़ रही है. यूं तो केंद्र सरकार, राज्य सरकार और जिला प्रशासन एक के बाद एक कड़े कदम उठा रहा है जिससे आम आदमी को परेशानी न हो. बावजूद इसके फुटपाथ और झुग्गी झोपड़ियों में रहने वालों को इसका लाभ न के बराबर मिल रहा है.
नगर थाना क्षेत्र के सिंडिकेट नहर के किनारे फुटपाथ पर झोपड़ी बनाकर दिहाड़ी पर काम करने वाले गौतम कुमार कहते हैं कि सड़क किनारे फुटपाथ पर रहकर वे किसी तरह अपने परिवार का भरण-पोषण करते हैं. लेकिन, लॉकडाउन के कारण उनके सामने भोजन का भीषण संकट उत्पन्न हो गया है. वहीं, राशन कार्ड नहीं होने के कारण सरकारी लाभ भी उन्हें नहीं मिल पा रहा है.
'हम रोज बनाकर बेचने-खाने वाले लोग हैं'
लॉकडाउन की मार झेल रहे मजदूर गौतम कुमार ने रुआंसा स्वर में कहा कि हम रोज सामान बनाकर तैयार करते हैं और उसे प्रतिदिन बाजारों में बेचकर परिवार के लिए भोजन खरीदते हैं. लेकिन, इस लॉकडाउन में घर से निकलना मुश्किल है. नतीजतन भूखे पेट सोना पड़ रहा है.