भागलपुर: बिहार के भागलपुर में नारायणपुर प्रखंड स्थित पहाड़पुर गांव में स्वास्थ्य विभाग की पांच सदस्यीय टीम ने अमृत हेल्थ केयर की जांच की. जांच में क्लीनिक अवैध पाया गया. अमृत हेल्थ केयर पहाड़पुर का पीएचसी नारायणपुर के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ विनोद कुमार के नेतृत्व में पांच सदस्यीय स्वास्थ्य विभाग की टीम ने औचक निरीक्षण किया. प्रथम दृष्टया अमृत हेल्थ केयर अवैध तरीके से संचालित पाया गया. क्योंकि उसके पास पंजीकृत होने का कोई प्रमाण नहीं था.
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क्लीनिक के पंजीकृत होने का नहीं मिला दस्तावेज: संचालक डॉ ललित कुमार अनुपस्थित पाए गए. पांच सदस्य टीम में पीएचसी नारायणपुर के डॉ कुमार दीपक, लैब टेक्नीशियन राजीव कुमार रंजन, एक्स-रे टेक्नीशियन चंदन कुमार, हेल्थ मैनेजर शंकर पासवान थे. डॉ विनोद कुमार ने कहा कि यह तो अभी झांकी है. गहन जांच बाकी है. विनोद कुमार ने बताया कि हेल्थ केयर के संचालक डॉ ललित कुमार नहीं थे. पंजीकृत होने का कोई वैध दस्तावेज वहां उपस्थित व्यक्ति नहीं दिखा सका. केयर में अवैध पैथोलॉजी और मेडिकल स्टोर भी संचालित हो रहा था.
"यह तो अभी झांकी है. गहन जांच बाकी है. हेल्थ केयर के संचालक डॉ ललित कुमार नहीं थे. पंजीकृत होने का कोई वैध दस्तावेज वहां उपस्थित व्यक्ति नहीं दिखा सका. केयर में अवैध पैथोलॉजी और मेडिकल स्टोर भी संचालित हो रहा था" -विनोद कुमार, पीएचसी प्रभारी, नारायणपुर
सीएस को भेजी जाएगी जांच रिपोर्ट: विनोद कुमार ने कहा कि एक कार्टन में काफी संख्या में यूज किया हुआ सिरिंच भी मिला. टीम ने बताया कि अमृत हेल्थ केयर अवैध तरीके से संचालित हो रहा है. इसका पुख्ता प्रमाण वहां पाया गया .इसलिए सारी जांच रिपोर्ट सिविल सर्जन कार्यालय को भेजी जाएगी. पहाड़पुर में टीम के धावा बोलने के बाद क्षेत्र में खलबली मच गई. पंडित टोला मधुरापुर में अवैध तरीके से संचालित अल्ट्रासाउंड संचालक गलत जांच रिपोर्ट देकर चांदी काट रहे हैं. जांच से बचने के लिए सूचना पट्ट पर डॉक्टर नहीं है का सूचना भी चिपका दिया गया था.
अवैध सेंटरों में मचा हड़कंप: टीम के जांच करने पहुंचने पर क्षेत्र में अवैध तरीके से संचालित क्लीनिक, अल्ट्रासाउंड सेंटर, एक्स-रे सेंटर और पैथोलॉजी सेंटर संचालक में हड़कंप मच गया. कई ने अपने सेंटर का शटर गिरा दिया था, तो कई ने बोर्ड भी हटा लिया था. टीम ने कहा कि एक-एक करके सभी फर्जी क्लीनिक, एक्सरे जांच सेंटर, अल्ट्रासाउंड जांच सेंटर, पैथोलॉजी की जांच होगी.