बेगूसराय:लॉकडाउन में देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे मजदूर भले ही लाख तकलीफ झेलकर बिहार पहुंचे हों, लेकिन बिहार सरकार द्वारा बनाए गए क्वारन्टीन सेंटरों पर दी जा रही सुविधाओं से काफी संतुष्ट हैं. इसी क्रम में बेगूसराय प्रवासी मजदूरों के लिये बनाये गये आश्रय स्थल पर भी समय पर भोजन-पानी के साथ-साथ प्रशिक्षक द्वारा योग की शिक्षा और शाम में मनोरंजन के लिए प्रोजेक्टर के जरिए देश भक्ति फिल्म दिखाए जाने से यहां ठहरे प्रवासी मजदूर खुशी-खुशी अपना समय व्यतीत कर रहे हैं.
जानकारी के मुताबिक, जैसे-जैसे देश के विभिन्न हिस्सों से प्रवासी मजदूरों का बिहार पहुंचना शुरू हुआ है. कई जिलों में सरकार और स्थानीय प्रशासन पर लापरवाही और बदइंतजामी का आरोप लगाकर प्रवासी मजदूरों ने पहले जमकर हंगामा मचाया. जिसके बाद स्थिति को भांपते हुए बेगूसराय जिला प्रशासन ने प्रवासी मजदूरों के सुख, सुविधा, स्वास्थ्य और मनोरंजन को लेकर काफी जमीनी प्रयास किए हैं.
आश्रय स्थल में प्रवासी मजदूर रोग प्रतिरोधक क्षमता विकसित करना है मकसद
बेगूसराय जिला प्रशासन के द्वारा आश्रय स्थल पर खाने-पीने की ससमय व्यवस्था के साथ-साथ मजदूरों के सुख सुविधा और स्वास्थ को देखते हुए कई एहतियाती कदम उठाए गए हैं. आश्रय स्थलों पर योग प्रशिक्षकों के द्वारा मजदूरों को योग की शिक्षा दी जा रही हैं. वहीं, सुबह-शाम योग करने से प्रवासी मजदूर पहले से ज्यादा तंदुरुस्त महसूस कर रहे हैं. अधिकारियों के अनुसार योगा से लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता विकसित होती है, जिससे कोरोना वायरस जैसे संक्रमण से बचाव में यह काफी कारगर साबित होगा.
देशप्रेम के साथ मनोरंजन
वहीं, प्रवासी मजदूरों के मनोरंजन के लिए शाम में प्रोजेक्टर के जरिए देशभक्ति फिल्म भी दिखाए जा रहे हैं. देशभक्ति फिल्म दिखाने के पीछे का मकसद उनके अंदर देशप्रेम की भावना विकसित करने की साथ ही उनका मनोरंजन करना भी है, ताकि वह किसी तरह के तनाव या डिप्रेशन में आकर हंगामा खड़ा ना कर दें. मामले में एसडीएम संजीव चौधरी ने बताया कि प्रवासी मजदूरों को लेकर जिला प्रशासन मजदूरों के ट्रेनों से बेगूसराय पहुंचने के साथ ही उन को दी जाने वाली सुविधाएं स्वास्थ्य परीक्षण के बाद शुरू हो जाती हैं.
'सकारात्मक परिणाम आ रहे हैं सामने'
एसडीएम श्री चौधरी ने बताया कि मजदूरों को दी जाने वाली सुविधाओं में जिला प्रशासन ने स्वास्थ्य और मनोरंजन के दृष्टिकोण से योगा और देशभक्ति फिल्म दिखाने का फैसला लिया है. जिसके सकारात्मक परिणाम भी सामने आ रहे हैं. जिसमें सबसे प्रमुख कहीं से भी प्रवासी मजदूरों का हंगामा और प्रशासनिक आदेशों की अवहेलना जैसी शिकायतें जिला प्रशासन को नहीं मिल रही है.