अररिया: बिहार के सरकारी स्कूलों की शैक्षणिक गुणवत्ता को सुधारने के लिए मिशन दक्ष की शुरुआत की गई है. इस मिशन के तहत विद्यालय की कक्षाएं समाप्त होने के बाद एक शिक्षक पांच कमजोर बच्चों को विशेष कक्षा दे रहे हैं. यह कक्षाएं 45 मिनट की चल रही है. इसी बीच अररिया के जोकीहाट का एक वीडियो वायरल हो रहा है. जिसमें अभिभावक शिक्षकों से कह रहा कि हमारे बच्चों को पांच बजे तक नहीं पढ़ाइये. जब अभिभावक ही ऐसा कहेंगे तो मिशन दक्ष पर सवाल उठना लाजिमी है.
मिशन दक्ष से अभिभावक नाराज: वीडियो में दिख रहा है कि अभिभावक इस बात से नाराज है कि स्कूल की छुट्टी के बाद भी क्यों उसके बच्चे को पढ़ाया जा रहा है. अभिभावक का कहना है कि ठंड के समय सूर्यास्त जल्दी हो जा रहा है. शाम 5:00 बजे बच्चे छूटेंगे तो बच्चों को सुरक्षित घर कौन पहुंचाएगा. बाइपास पर स्कूल है और शाम में शराब पीकर कोई गाड़ी चलाएगा और उसके सामने बच्चे आ गए तो उसकी जिम्मेदारी किसकी होगी.
मिशन दक्ष से नाराज शिक्षक भी नाराज: वायरल इस वीडियो में जो शिक्षक का बयान है. उसमें शिक्षक भी मिशन दक्ष से नाराज नजर आ रहे हैं. शिक्षक अभिभावक से कहते हैं कि सरकार कह रही है दक्ष चलाइए तो हमलोग मजबूर हैं और बच्चे को पढ़ाएंगे. बच्चों को सुरक्षित घर ले जाने के लिए शाम 5:00 बजे आप स्कूल लिए और अपने बच्चों को ले जाइए.
अपना काम करेंगे कि बच्चों को लेने रोज स्कूल आएंगे:वायरल वीडियो में शिक्षक को जवाब देते हुए अभिभावक कह रहा कि शाम में अपना काम करेंगे कि वह बच्चे को घर ले जाने के लिए रोज स्कूल आएंगे. इसपर शिक्षक जवाब देता है कि यदि आपको आपत्ति है तो प्रधानाचार्य के पास शिकायत कीजिए और प्रधानाचार्य आज नहीं है कल आइए. वीडियो में भी दिख रहा है कि लगभग 10 से 12 की संख्या में बच्चे पढ़ रहे हैं और दो-चार की संख्या में शिक्षक विवाह मौजूद हैं.
ऐसे शिक्षकों को पढ़ाना अनिवार्य:बच्चों को गणित के अंकों को पहचानना और सामान्य स्तर के जोड़-घटाव, गुणा-भाग करना सिखाया जा रहा है. कुल मिलाकर मिशन दक्ष के तहत बच्चों को वास्तविक अक्षर में साक्षर बनाना है. जो शिक्षक प्रतिदिन 6 कक्षाओं को नहीं पढ़ाते हैं, उनके लिए मिशन दक्ष में पढ़ाना अनिवार्य है. वहीं जो शिक्षक अपने विद्यालय में 6 कक्षाओं को पढ़ाते हैं, उनके लिए यह अनिवार्य नहीं है.