अररिया: सदर अस्पताल अररिया में पिछले तीन माह में ऑपरेशन किए जाने का ग्राफ लगातार गिरता जा रहा है. इससे साफ नजर आता है कि कहीं न कहीं सदर अस्पताल की व्यवस्था में कोई कमी आई है.
जिले का सबसे बड़ा अस्पताल होने के कारण सभी प्रखंडों के उप स्वास्थ्य केंद्र या अतिरिक्त स्वास्थ्य केंद्र से मरीज यहां आते हैं. इनमें ज्यादातर गर्भवती महिलाओं का सिजेरियन ऑपरेशन होना रहता है. सदर अस्पताल में मोतियाबिंद, हर्निया, हाइड्रोसील, फैमली प्लानिंग जैसे ऑपरेशन के साथ और भी कई तरह के ऑपरेशन होते हैं.
दिसंबर 2020 के बाद से कम हो रहे ऑपरेशन
यहां हर रोज होने वाले ऑपरेशन की संख्या में दिसंबर 2020 के बाद से लगातार गिरावट आई है. 2020 में डॉ जितेंद्र प्रसाद सदर अस्पताल के प्रभारी अधीक्षक थे. उनके कार्यकाल में ऑपरेशन के आंकड़े अच्छे थे. दिसंबर 2020 को डॉ राजेश कुमार ने प्रभार ग्रहण किया था. इसके बाद से ही ऑपरेशन की संख्या में कमी आई है.
तीन माह में हुए 75 ऑपरेशन
सदर अस्पताल के आंकड़े के अनुसार पिछले साल सितंबर में 114, अक्टूबर में 91 और नवंबर में 56, यानी तीन माह में कुल 261 ऑपरेशन हुए थे. उस समय डॉ जितेंद्र प्रसाद प्रभारी अधीक्षक थे. दिसंबर में प्रभारी अधीक्षक के रूप में डॉ राजेश कुमार के पदभार ग्रहण करने के बाद से ही ऑपरेशन में गिरावट आई है. दिसंबर में 27, जनवरी में 33, फरवरी में 15, यानी इन तीन माह में कुल 75 ही ऑपरेशन हो पाए. इस समय अस्पताल में सिर्फ एक सर्जन डॉ जितेंद्र प्रसाद हैं. एक और सर्जन डॉ उमर अकबर थे वह अभी मौजूद नहीं हैं. ऑपरेशन की संख्या में कमी की बड़ी वजह यह भी हो सकती है.
जल्द सदर अस्पताल की व्यवस्था होगी दुरुस्त
सिविल सर्जन डॉ एमपी गुप्ता ने कहा "मैंने कुछ दिनों पहले ही पदभार ग्रहण किया है. जल्द ही सदर अस्पताल की व्यवस्था में सुधार होगा.
"अभी अस्पताल में सर्जन डॉक्टर की भारी कमी है. डॉ उमर अकबर भी बाहर चले गए हैं. इस कारण भी ऑपरेशन में गिरावट आई है. अभी डॉक्टर जितेंद्र प्रसाद हैं. उनको मैंने निर्देश दिया है कि ऑपरेशन में गति लाई जाए. राज्य स्वास्थ्य विभाग से सर्जन की मांग की जा रही है. जल्द ही सदर अस्पताल की सारी व्यवस्था में सुधार होगा."- डॉ एमपी गुप्ता, सिविल सर्जन