पटना: राजधानी पटना से सटे ग्रामीण इलाकों में इन दिनों गेहूं की कटाई खेतों में हो चुकी है. गेहूं के फसल कटने के बाद जो अवशेष बचते हैं उसे पराली कहते हैं. उस पराली को लगातार किसानों द्वारा जलाया (Farmers are Burning Stubble in Patna) जा रहा है. एक तरफ सरकार पराली प्रबंधन को लेकर लगातार गांव-गांव में जागरुकता फैला रही है. कई कार्यक्रम के तहत सरकार द्वारा इस पर पंचायत स्तरीय कार्यक्रम का आयोजन कर किसानों के बीच उन्हें जागरूक किया जा रहा है. इसके बावजूद किसान पराली जला रहे हैं.
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पराली जलाने पर नहीं लग रही रोक:किसानसरकारी आदेशों की अवहेलना करते हुए खेतों में पराली जला रहे हैं. ऐसे में धनरूआ प्रखंड में कई जगह पर किसान पराली जला रहे हैं. कई किसानों पर कारवाई भी शुरू हो चुकी है. वहीं, धनरूआ में ई किसान भवन के पीछे खेत में पराली जलाने के दौरान दूसरे के खेत में लगी हुई फसल भी आग से जलकर खाक हो गई. ऐसे में लगातार पराली जलाने के कारण अगल-बगल के किसान भी प्रभावित हो रहे हैं.
रोक के बावजूद किसान जला रहे हैं पराली: पराली जलाने के दौरान अगल-बगल के किसानों के गेहूं की फसल में भी आग लग जा रही है. जिससे लोगों को भारी नुकसान पहुंच रहा है. मिली जानकारी के अनुसार, मसौढ़ी एवं धनरूआ और प्रखंड में लगातार खेतों में पराली जलायी जा रही है. रोक के बावजूद किसान मानने को तैयार नहीं है. हालांकि कृषि विभाग द्वारा लगातार गांव-गांव में जागरुकता कार्यक्रम भी चलाया जा रहा है. पराली प्रबंधन करने और खेतों में पराली को नष्ट करने के बाजारों में उपलब्ध दवाओं के बारे में भी बताया जा रहा है. जिस केमिकल का छिड़काव आसानी से किया जा सकता है.