पटना: राष्ट्रीय जनता दल ने राज्यसभा के बाद अब सोमवार को विधान परिषद चुनाव (Bihar Legislative Council Elections RJD Candidate) के लिए अपने प्रत्याशियों का ऐलान कर दिया है. आरेजडी ने विधान परिषद के चुनाव में अल्पसंख्यक और ब्राह्मण उम्मीदवारों पर भरोसा जताया है. विधानसभा में विधायकों की संख्या बल के हिसाब से 3 सीटों पर महागठबंधन के प्रत्याशियों की जीत पक्की मानी जा रही है. प्रत्याशियों के नामों की घोषणा पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह (RJD state president Jagdanand Singh) ने की. इस मौके पर उन्होंने कहा कि आरजेडी A टू Z की बात करती है.
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जनादेश की लूट हुई: उन्होंने कहा कि जगदानंद आरजेडी सबकी बात करती है. विधान परिषद के उम्मीदवारों के चयन में भी सबका ख्याल रखा गया है. पार्टी ने एक अल्पसंख्यक, एक एससी व एक सवर्ण को मौका दिया है. उन्होंने कहा कि राज्यसभा के उम्मीदवारों के नाम की घोषणा हमारे राष्ट्रीय अध्यक्ष व नेता प्रतिपक्ष ने की थी. राजद राष्ट्र व राज्य के निर्माण के लिए समाजवादियों को आगे बढ़ाता है. 2020 के चुनाव में जनादेश की लूट हुई. हमारी सरकार नहीं बनी जिससे राजद गरीबों, असहाय लोगों की सेवा करने वंचित रह गया. अगर भविष्य में इससे बचना है तो लोगों को राजद पर विश्वास करना होगा.
'आरजेडी सबसे पहले निर्णय करती है. निर्णय में विलंब नहीं करती है. आरजेडी अपने साथियों को आश्वस्त करती है कि परेशान नहीं हों. वक्त के साथ सबको मौका मिलता रहेगा.'- जगदानंद सिंह, आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष.
पार्टी के प्रवक्ता शक्ति सिंह यादव ने कहा कि राजद अपने कार्यकर्ताओं व अन्य लोगों की सुध लेता रहता है. राज्यसभा में विभिन्न वर्गों के हमारे सदस्य हैं. कारी सुहैब लंबे वक्त से पार्टी के लिए कार्यरत रहे हैं. मुन्नी देवी राजद महिला प्रकोष्ठ की महासचिव हैं. यह निर्णय बिहार के हित में लिया गया है. इस मौके पर पार्टी प्रवक्ता चितरंजन गगन भी उपस्थित थे.
आरजेडी ने किया उम्मीदवारों के नाम का ऐलान:राजद ने जिन उम्मीदवारों को विधान परिषद के चुनाव में उतारा है उनके नाम युवा राजद के प्रदेशाध्यक्ष कारी सोहेब ( RJD MLC Candidate Qari Sohaib ) , मुन्नी देवी उर्फ मुन्नी रजक (RJD MLC Candidate Munnu Rajak ) और अशोक पाण्डे ( RJD MLC Candidate Ashok Pandey) है. बता दें कि खाली हो रहे विधान परिषद के 7 सीटों (Election to seven seats of Bihar Legislative Council) में से 5 सीट फिलहाल जदयू के हैं और 2 सीट बीजेपी खेमे के हैं. 2016 में सातों सीटों का समीकरण कुछ इस प्रकार से था. उस समय जदयू के पास 2 आरजेडी के पास 2, बीजेपी कांग्रेस और वीआईपी के पास एक एक सीट थी. बाद में आरजेडी के विधान पार्षद और कांग्रेस के एक मात्र एमएलसी जदयू में शामिल हो गए थे.
इन सदस्यों को हो रहा कार्यकाल समाप्त:जिन सात सदस्यों का कार्यकाल जुलाई में समाप्त हो रहा है उसमें जदयू के गुलाम रसूल बलियावी, सीपी सिन्हा, कमर आलम, रणविजय सिंह, रोजिना नाजिम, बीजेपी के अर्जुन सहनी और वीआईपी के मुकेश सहनी भी शामिल हैं. मुकेश सहनी को बीजेपी ने अपने कोटे से ही विधान परिषद भेजा था लेकिन अब बीजेपी के साथ मुकेश सहनी का संबंध खराब हो चुका है और नीतीश मंत्रिमंडल से भी मुकेश सहनी बाहर हो चुके हैं.
2 जून से नामांकन शुरू: फिलहाल सभी दल की नजर राज्यसभा के उम्मीदवारों पर लगी है लेकिन 2 जून से विधान परिषद के 7 सीटों पर नॉमिनेशन शुरू हो रहा है और 9 जून तक नॉमिनेशन चलेगा. वहीं 20 जून को वोटिंग होगी. तय है विधान परिषद सीटों को लेकर जल्द ही मंथन शुरू हो जाएगा क्योंकि सभी दलों में विधान परिषद के लिए दावेदारों की लंबी सूची है. ऐसे में सभी दल के लिए चुनौती बढ़ेगी. खासकर जदयू की परेशानी बढ़ सकती है क्योंकि 5 सदस्यों का जिनका कार्यकाल समाप्त हो रहा है उनकी तो दावेदारी होगी ही साथ ही पार्टी के कार्यकर्ताओं में अनिल हेगड़े को राज्यसभा भेजने के बाद उम्मीद जगी है. दूसरी तरफ बीजेपी में भी कई दावेदार हैं और लंबे समय से विधानसभा जाने की आस लगाए बैठे हैं.
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