पटना:हैंडलूम से बने कपड़े धीरे-धीरे बाजारों से गायब हो रहे हैं. अब मशीनों से झटपट बने कपड़े ही दुकानों पर सजे नजर आते हैं, लेकिन आज भी ऐसे कुछ ब्रांड और कारीगर मौजूद हैं, जो मशीनों से ज्यादा हाथों से किए गए असली काम को तबज्जो देते हैं. जिस तरह इनका काम खास है उसी तरह इनके खरीदार भी वही लोग हैं जो भारतीय कला को पसंद करते हैं. मधुबनी जिले की रहने वाली प्रियंका के हाथों से बने हैंडलूम कला की समझ जिनको है, वो खरीदार खरीदी करते हैं.
ये भी पढ़ें-पटना जंक्शन पर मिल रहा है मधुबनी पेंटिंग से बना उत्पाद, 'एक स्टेशन.. एक उत्पाद' के तहत पहल
प्रियंका को परिवार से मिली प्रेरणा: मधुबनी की प्रियंका पिछले 6 सालों से खुद मधुबनी पेंटिग्स को कपड़े पर डिजाइन करती हैं. इतना ही नहीं कई रेलवे स्टेशनों की दीवारों पर मधुबनी पेंटिंग उखेर चुकी हैं. मिथिला शैली में पेंटिंग करने की प्रेरणा प्रियंका को अपने परिवार वालों को करते देख मिली है. प्रियंका ग्रामीण परिवेश में रहने के साथ-साथ मधुबनी पेंटिंग और साथ में पढ़ाई भी कर रही हैं.
पटना जंक्शन पर मधुबनी पेंटिंग के उत्पाद:प्रियंका ने इन दिनों पटना जंक्शन के प्लेटफार्म नंबर 10 पर मधुबनी पेंटिंग और उत्पाद का स्टॉल (Products of Madhubani Painting at Patna Junction) लगाया है. जहां पर लेडीज पर्स, रूमाल पर मधुबनी पेंटिंग, दुपट्टे पर मधुबनी पेंटिंग खुद करके स्टॉल पर लगाया है. जहां लोग इनके हाथों की कला को देखकर खरीदारी कर रहे हैं. प्रियंका के पिता दुकान चलाते हैं और प्रियंका अपने बल बूते मधुबनी पेंटिंग करके स्थानीय हस्तशिल्प को बढ़ा रहीं हैं.
स्वरोजगार का एक नया अवसर:स्थानीय उत्पादों जैसे कि खाद्य पदार्थ, हस्त शिल्प उत्पाद, कलाकृतियां, हथकरघा आदि क्षेत्र विशेष के अनुसार रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म पर प्रदर्शनी और बिक्री की जा रही है. यह स्थानीय लोगों के लिए स्वरोजगार का एक नया अवसर भी पैदा करेगा. इसका उद्देश्य रेलवे परिसर का उपयोग कर स्थानीय उत्पादों की सप्लाई चेन को बढ़ावा देना है. स्थानीय उत्पादों जैसे कि हस्त शिल्प उत्पाद कलाकृतियां को बढ़ावा देने के उद्देश्य से पटना जंक्शन के प्लेटफॉर्म 10 पर प्रदर्शनी और बिक्री की जा रही है. जिससे स्थानीय लोगों के लिए स्वरोजगार का एक नया अवसर भी पैदा किया जा रहा है.
'एक स्टेशन, एक उत्पाद':बता दें कि बजट 2022-23 में 'एक स्टेशन, एक उत्पाद' (One Station One Product) के तहत स्थानीय कारीगरों, शिल्पकारों, कुम्हारों, बुनकरों और जन-जातियों के बेहतर जीविकोपार्जन के लिए रेलवे स्टेशनों के प्लेटफार्म पर स्थानीय उत्पादों की प्रदर्शनी और बिक्री के लिए निर्धारित स्थान पर स्टॉल उपलब्ध कराया गया है. पूर्व मध्य रेलवे के लिए पायलट प्रोजेक्ट के रूप में पटना जंक्शन का चयन किया गया है.
विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करेंETV BHARAT APP