पटना:सीएम नीतीश कुमार(Chief Minister Nitish Kumar) के जनता दरबार (Janta Darbar) में फरियादी अपनी फरियाद लेकर पहुंच रहे हैं. मुख्यमंत्री के जनता दरबार में दो अलग-अलग पंचायतों से फरियादी संबंधित मुखिया के खिलाफ शिकायत लेकर पहुंचे थे. उनका आरोप था कि मुखिया मनमानी कर रहे है. विरोध करने पर मारपीट के झूठे मामले में फंसा देते हैं.
ये भी पढ़ें: कांग्रेस का वैक्सीनेशन कैंप पर वार-'रिकॉर्ड के लिए हो रही खानापूर्ति', BJP ने दिया करारा जवाब
पहले व्यक्ति ने कहा कि सर.. हम मुखिया की मनमानी से परेशान हैं. इस पर मुख्यमंत्री ने कहा कि अब तो मुखिया कहां है. मुखिया का तो चुनाव चल रहा है. फरियादी ने कहा कि सर, मुखिया एक साल से नल जल का पैसा रोके हुए हैं. मुखिया अपनी मनमानी के आगे किसी अधिकारी की नहीं सुनते. पैसे का भुगतान करने का 6 महीना पहले का डीपीआरओ का आदेश है, फिर भी पैसा नहीं भेजा. मुख्यमंत्री ने समस्या के समाधान के लिए शिकायतकर्ता को पंचातयी राज विभाग के अधिकारी के पास भेज दिया.
दूसरे फरियादी की शिकायत भी कुछ इसी प्रकार की थी. उसने कहा कि सर...दो इंच ढाई इंच ढलाई हो रही है. बोलने पर झूठे केस में फंसाया जाता है. नल जल का काम भी पूरा नहीं हुआ है. 2016 से मनरेगा का काम भी जेसीबी से कराया जा रहा है. इस काम का विरोध करने पर मारपीट की जाती है. फरियादी ने कहा कि 1 तारीख को हम से मारपीट की गयी. दो लोगों को झूठे मामले में जेल भेज दिया गया. सीएम ने इस फरियादी को भी पंचायती राज अधिकारी के पास भेज दिया.
आज, 20 सितंबर को मुख्यमंत्री सचिवालय संवाद के बगल में बनाए गए विशेष हॉल में ये कार्यक्रम हो रहा है. जिसमें संबंधित विभाग के मंत्री और सभी आला अधिकारी मौजूद हैं. मुख्यमंत्री ऑन द स्पॉट लोगों की समस्याओं का समाधान कर रहे हैं. जनता दरबार में इस बार कोरोना गाइडलाइन का खास ध्यान रखा गया है.
हॉल के अंदर सोशल डिस्टेंसिंग को ध्यान में रखते हुए चेयर लगाए गए हैं. हॉल के बाहर मेडिकल टीम की भी व्यवस्था है. मुख्यमंत्री ने इस बार बिहार विधानसभा चुनाव में जदयू की खराब परफॉर्मेंस के बाद फिर से जनता दरबार लगाने की घोषणा की थी. कोरोना महामारी के कारण जनता दरबार पहले शुरू नहीं हो पाया था. इसे http://cm.bihar.gov.in/live, https://www.facebook.com/iprdbihar , https://twitter.com/IPRD_Bihar और https://www.youtube.com/iprdbihar पर लाइव देखा जा सकता है.