पटना: कोरोना संक्रमण के दौर में बिहार की सियासत में भी सत्ता पक्ष और विपक्ष में जमकर बयानबाजी हो रही है. इस बीच बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल ने गुरुवार को एक साथ राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद, पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव और जन अधिकार पार्टी के प्रमुख पप्पू यादव पर कटाक्ष करते हुए कहा कि आजकल जेल और बेल के बीच में अस्पताल का कमाल खेल है. जैसे बेल मिल जाएगी वैसे नेता जी स्वस्थ होकर कैमरा के साथ घूमना शुरू कर देंगे.
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संजय जायसवाल बिना तेजस्वी के नाम लिए घेरते हुए लिखा, "राघोपुर की जनता आपको विधायक बनाती है, फिर भी अस्पताल पटना में ही खोलेंगे. भाई के मंत्री रहते एक मेडिकल कॉलेज ही राघोपुर में खोल देते या खुद मंत्री रहते एक पुल ही बना देते तो पीपा पुल पर लोगों की मौतें नहीं होतीं."
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''यहां तो मूल उद्देश्य सेवा नहीं, छपास है. छपास के लिए तो सेवा पटना में ही करना पड़ेगी. परिवार के पद चिन्हों पर चल रहे हैं, मुख्यमंत्री रहते परिवार का सिद्धांत था कि विकास से कभी वोट नहीं मिलता है. उद्देश्य अगर अस्पताल खोलना होता तो सिविल सर्जन एवं जिलाधिकारी को सूचना देते, पर असली उद्देश्य तो छपना है, इसलिए यह सीधा मुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री को ही सूचित करेंगे. मुख्यमंत्री को चिट्ठी लिखते हैं कि सेवा करना चाहते हैं, जैसे सेवा करने में भी रोक है और मुख्यमंत्री से ही इसकी परमिशन लेनी पड़ती है.'' - संजय जायसवाल, बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष
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'पप्पू यादव...समाज सेवा तो पटना में ही करेंगे'
पप्पू यादव को अप्रत्यक्ष रूप से निशाने पर लेते हुए भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने आगे लिखा कि हमारे दूसरे नेता विधायक और सांसद पूर्णिया और मधेपुरा से रहे, पर समाज सेवा तो पटना में ही करेंगे नहीं तो रोज छपास कैसे होगा.
'सारा कमाल उस 30 प्रतिशत वोट का है'
उन्होंने कटाक्ष करते हुए लिखा कि दोनों का उद्देश्य कभी सेवा रहा ही नहीं, सारा कमाल उस 30 प्रतिशत वोट का है जो बिना कुछ किए एक को मिल जाता है और दूसरा उसके लिए लपलपा रहा है.
'जेल और बेल के बीच में अस्पताल का कमाल खेल है'
डॉ जायसवाल ने आगे लिखा, "आजकल जेल और बेल के बीच में अस्पताल का कमाल खेल है. जैसे बेल मिल जाएगी वैसे नेता जी स्वस्थ होकर कैमरा के साथ घूमना शुरू कर देंगे, इसलिए इनके समर्थकों से अनुरोध है कि इनके स्वास्थ्य की नहीं बल्कि बेल की प्रार्थना करें, बेल के साथ स्वस्थ यह खुद ही हो जाएंगे."