गया:आज भी लोग किस तरह से ओझा तांत्रिक के चक्कर में पड़ते हैं गया जिले के मानपुर प्रखण्ड (Manpur Block) के मुफस्सिल थाना क्षेत्र के सिकहर गांव (Sikhar Village) में इसका जीता जागता उदाहरण देखने को मिला. दरअसल गांव में दो युवकों की मौत बीमारी से हो गई थी. परिजन और ग्रामीण इसे रहस्मयी मौत मान रहे थे. इसी बीच एक युवक के मृत शरीर को जिंदा करने के लिए ओझा ने अंधविश्वास (Superstition) का खेल खेला. काफी देर तक ड्रामा चलता रहा लेकिन जब मृत युवक जिंदा नहीं हुआ तो ओझा ने इसे अभिशाप करार दे दिया और मृतक के परिजनों को गांव से बाहर करने का आदेश दिया.
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मृतक के परिवार को गांव से बाहर निकालने के लिए गांव में पंचायत की गई. पंचायत में परिवार को गांव से निकालने का तुगलकी फरमान सुना दिया गया. इस मामले को लेकर पुलिस के पास शिकायत दर्ज नहीं हुई लेकिन पीड़ित पक्ष को गांव में वापस रहने दिया जाए इसे लेकर पुलिस ने प्रयास किया. हालांकि पुलिस के लाख समझाने के बावजूद ग्रामीण नहीं मानें.
दरअसल मुफस्सिल थाना क्षेत्र के सिकहर गांव में दो दिनों के भीतर बीमारी से दो लोगों की मौत हो गयी थी. जबकि एक महिला का गंभीर हालत में इलाज जारी है. गांव वाले और मृतक के परिजन इसे रहस्मय मौत मान रहे थे. भूत प्रेत के चक्कर में ओझा ने एक मृतक को जिन्दा करने का दावा किया था. परिजनों ने ओझा की बात मानकर झाड़-फूंक भी करायी. कई घंटे बाद थक हारकर मृतकों का अंतिम संस्कार कर दिया गया था.
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